तालाब की जरूरत नहीं घर में करें मछली पालन और पाएं 80% सब्सिडी बायोफ्लॉक तकनीक के ज़रिए

By RTM Hindi News

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क्या आप भी कम जगह, कम लागत और बिना तालाब के मछली पालन शुरू करना चाहते हैं? तो बायोफ्लॉक तकनीक आपके लिए एक बेहतरीन मौका है। इस तकनीक में टैंक के जरिए घर, छत या बगीचे में ही मछली पालन किया जा सकता है, जिसमें न तालाब की जरूरत होती है और न ज्यादा पानी की। खास बात यह है कि अब सरकार इस तकनीक पर 80% तक सब्सिडी भी दे रही है, जिससे आपकी लागत बहुत कम हो जाती है और मुनाफा ज़्यादा होता है।

बायोफ्लॉक तकनीक में उपयोग होने वाले टैंक में ऑक्सीजन मशीन और विशेष प्रकार के बैक्टीरिया अपशिष्ट को मछलियों के लिए पौष्टिक आहार में बदल देते हैं। इससे पानी की गुणवत्ता बनी रहती है और मछलियों की ग्रोथ तेज होती है। एक टैंक से आप 50 किलो तक मछली तैयार कर सकते हैं और अगर 20 टैंक लगाते हैं, तो 1000 किलो से ज़्यादा मछली उत्पादन संभव है।

सरकार की प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना के तहत आप सब्सिडी के लिए आवेदन कर सकते हैं। यह व्यवसाय खासकर युवाओं, महिलाओं और छोटे किसानों के लिए एक सुनहरा अवसर है। बिना ज़मीन और तालाब के भी आप अपना profitable fish farming business शुरू कर सकते हैं।

तालाब नहीं, टैंक से करें मछली पालन

अब मछली पालन के लिए बड़े तालाब की जरूरत नहीं। बायोफ्लॉक तकनीक ने इस प्रक्रिया को घर या छोटे खेतों में भी संभव बना दिया है। इस तकनीक में टैंक के ज़रिए कम पानी और कम जगह में मछली पालन किया जाता है। यही कारण है कि यह छोटे किसानों और युवाओं के बीच तेजी से लोकप्रिय हो रहा है।

बायोफ्लॉक तकनीक क्या है और कैसे काम करती है?

Biofloc Technology एक आधुनिक तरीका है जिसमें टैंक में बैक्टीरिया और फंगस के जरिए मछली के अपशिष्ट को उपयोगी प्रोटीन में बदल दिया जाता है। यह न केवल मछलियों के लिए natural feed तैयार करता है, बल्कि पानी को भी शुद्ध रखता है। टैंक में एक ऑक्सीजन सप्लाई मशीन होती है जिससे पानी हमेशा जीवित रहता है।

अब मिल रही है 80% तक सरकारी सब्सिडी

कई राज्यों में बायोफ्लॉक मछली पालन पर अब 60% नहीं बल्कि 80% तक की सब्सिडी मिल रही है, खासकर अगर आप SC/ST श्रेणी, महिला या युवा उद्यमी हैं। यह सुविधा प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना के अंतर्गत दी जाती है। यदि आप मछली पालन में रुचि रखते हैं, तो यह समय बिज़नेस शुरू करने का सबसे सही मौका है।

लागत कम, मुनाफा ज़्यादा – जानिए पूरा गणित

एक Biofloc टैंक लगाने में औसतन ₹40,000 खर्च आता है। लेकिन अगर आपको 80% सब्सिडी मिलती है तो ये लागत सिर्फ ₹8,000 तक रह जाती है। एक टैंक से 50 किलो तक मछली पैदा होती है। अगर आप 20 टैंक लगाते हैं, तो 1000 किलो से ज़्यादा उत्पादन संभव है। बाज़ार में मछली ₹170–₹190 प्रति किलो तक बिक रही है, जिससे 2–3 लाख रुपये की कमाई हो सकती है।

घर, बगीचे या छत – कहीं भी शुरू करें

इस बिज़नेस की खास बात यह है कि आप इसे अपनी छत, छोटे बगीचे या courtyard में भी शुरू कर सकते हैं। न ज़्यादा पानी, न ज़्यादा जमीन। बस कुछ टैंक, ऑक्सीजन मशीन और रोज़ाना 1–2 घंटे की देखभाल की जरूरत होती है। खास बात यह है कि मछलियों की ग्रोथ तेज होती है और 5–6 महीनों में ही मार्केट रेडी हो जाती हैं।

मछली पालन के साथ दूसरी स्कीम्स भी जानें

अगर आप गांव में रहकर आत्मनिर्भर बनना चाहते हैं, तो मछली पालन के साथ आप लाड़ली बहना आवास योजना जैसी योजनाओं का भी लाभ उठा सकते हैं। इससे आपको रहने और कमाने दोनों में मदद मिलती है।

निष्कर्ष: छोटे निवेश से बड़ा फायदा

बायोफ्लॉक तकनीक उन लोगों के लिए वरदान है जो कम लागत में खुद का बिज़नेस शुरू करना चाहते हैं। तालाब की जरूरत नहीं, बस थोड़ा हुनर और सरकार की मदद से आप भी मछली पालन के ज़रिए आत्मनिर्भर बन सकते हैं।

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